UP Laghu Krishi Sichai Yojana 2024 लघु कृषि सिंचाई योजना ऑनलाइन आवेदन

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UP Laghu Krishi Sichai Yojana is a transformative initiative aimed at revolutionizing agricultural irrigation in Uttar Pradesh, India. With a focused approach on sustainable water management, the UP Laghu Krishi Sichai Yojana seeks to enhance crop productivity and farmer livelihoods through efficient water distribution and utilization.

This article delves into the key objectives, benefits, and implementation strategies of the UP Laghu Krishi Sichai Yojana, shedding light on its significant role in propelling the state’s agricultural sector forward.

UP Laghu Krishi Sichai Yojana 2024 लघु कृषि सिंचाई योजना ऑनलाइन आवेदन

अच्छी खबर !! उत्तर प्रदेश सरकार अगले दो सालों में 50000 किसानों को सोलर पंप देगी। हर खेत को पानी योजना के तहत सरकार अब मध्यम गहरे नलकूपों की बोरिंग पर 1.75 लाख रुपये का अनुदान देगी, पहले यह राशि 75000 रुपये थी। उत्तर प्रदेश सरकार 01 अप्रैल से किसानों को सिंचाई के लिए मुफ्त बिजली देगी। जिन किसानों ने सिंचाई के लिए निजी नलकूप लगवाएं हैं, उनको 01 अप्रैल 2023 के बाद से बिजली का बिल नहीं देना होगा। उत्तर प्रदेश सरकार किसानों को पीएम कुसुम योजना का अंतर्गत अनुदान पर सोलर पंप देगी। किसान भाई इसके लिए www.upagriculture.com वेबसाइट पर “अनुदान पर सोलर पंप हेतु बुकिंग करें” लिंक से आवेदन कर सकते हैं।

उत्तर प्रदेश कृषि सोलर पंप योजना ऑनलाइन आवेदन 2024

सूखे की बार-बार पड़ने वाली विभीषिका से निपटने हेतु 19वी शताब्दी के उत्तरार्द्ध में सिंचाई के विकास के महत्व को समझा जाने लगा था। वर्ष 1897-98 एवं 1899-1900 में पड़े भयंकर सूखों में सिंचाई के नियोजित एवं त्वरित विकास ने महती भूमिका निभायी। वर्ष 1901 में गठित प्रथम इरीगेशन कमीशन को देश में सूखे के विरूद्ध निपटने में सिंचाई के क्षेत्र में रिपोर्ट उपलब्ध कराने का कार्य सौंपा गया। कमीशन द्वारा निजी सिंचाई साधनों के विकास हेतु कतिपय सुझाव दिये गये। वर्ष 1939 में शासन द्वारा Agricultural Reorganization समिति गठित की गयी, जिसने वर्ष 1941 में अपनी रिपोर्ट दी। इसमें अन्य के अलावा जल उठाने के साधन/मशीनरी, छोटी बोरिंग, नलकूप, कूप छेदकों की ट्रेनिंग आदि के सम्बन्ध में कतिपय अनुशंसायें की गयी थी।

उपरोक्त संस्तुतियों को वर्ष 1947 में मुख्य कृषि अभियन्ता के अधीन कार्यान्वित किया गया। सिंचाई का कार्य प्रदेश को तीन जोन में बांटकर कराया गया, जिसके मुख्यालय मेरठ, कानपुर तथा वाराणसी बनाये गये। इस प्रकार निजी नलकूपों हेतु बोरिंग का कार्य पहले एग्रीकल्चरल इन्जीनियरिंग विभाग के माध्यम से किया जाता था। पहली जुलाई 1954 को इस विभाग को नियोजन विभाग से सम्बद्ध किया गया, तत्पश्चात् वर्ष 1964 में शासनादेश सं0 5819/38-8-517/1964 दिनांक 08.10.1964 द्वारा आयुक्त कृषि उत्पादन एवं ग्राम्य विकास की देख-रेख में लघु सिंचाई विभाग की स्थापना की गयी।

लघु कृषि सिंचाई योजना 2024

लघु कृषि सिंचाई योजना 2024

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लघु कृषि सिंचाई योजना का उद्देश्य

  • इस योजना का मुख्य उद्देश्य कृषि उत्पादन में वृद्धि हेतु कृषकों के निजी सिंचाई साधनों का निर्माण कराकर उन्हें आत्मनिर्भर बनाना है, जिससे प्रदेश के हर खेत में सुनिश्चित् सिंचाई सुविधा उपलब्ध हो सके तथा प्रदेश के कृषक अधिकाधिक खाद्यान्न उत्पादन कर प्रदेश व देश के आर्थिक विकास में योगदान कर सकें।
  • उपरोक्त उद्देश्य की पूर्ति के क्रम में लघु सिंचाई विभाग द्वारा कृषकों को निजी लघु सिंचाई संसाधनों के विकास हेतु अनुदान इत्यादि की सुविधाऐं प्रदान की जाती है तथा तकनीकी मार्ग-निर्देशन दिया जाता है।
  • विभिन्न योजनाओं के अन्तर्गत् विभाग द्वारा प्रदत्त अनुदान उत्प्रेरक का कार्य करता है और लघु सिंचाई साधनों के निर्माण के लिए स्वयं का निवेश करने हेतु कृषकों को प्रेरित करता है।
  • प्रदेश में गहराते भूजल संकट के दृष्टिगत विभाग वर्षा जल संचयन,सतही जल के इष्टतम उपभोग एंव जल संरक्षण की विधाओं को प्रोत्साहित कर भूजल संर्वधन हेतु प्रयासरत है।

लघु कृषि सिंचाई योजना के तहत मिलने वाले अनुदान

इस योजना के अंतर्गत किसानों को जाति के अनुसार अनुदान मिलेगा जो कि निम्न प्रकार है :-

  • सामान्य जाति के लघु एवं सीमान्त किसानों हेतु अनुदान:-  इस योजना मे सामान्य श्रेणी के लघु एवं सीमान्त कृषकों हेतु बोरिंग पर अनुदान की अधिकतम सीमा क्रमशः रूपए 5000 व रूपए 7000 निर्धारित है। सामान्य लाभार्थियों के लिये जोत सीमा 0.2 हेक्टेयर निर्धारित है। सामान्य श्रेणी के कृषकों की बोरिंग पर पम्पसेट स्थापित करना अनिवार्य नहीं है, परन्तु पम्पसेट क्रय कर स्थापित करने पर लघु कृषकों को अधिकतम 4500 रूपए व सीमान्त कृषकों हेतु 6000 रूपए का अनुदान अनुमन्य है।
  • अनुसूचित जाति/जनजाति कृषकों हेतु अनुदान :- अनुसूचित जाति/जनजाति के लाभार्थियों हेतु बोरिंग पर अनुदान की अधिकतम सीमा 10000 रूपए निर्धारित है। न्यून्तम जोत सीमा का प्रतिबंध तथा पम्पसेट स्थापित करने की बाध्यता नहीं है। 10000 रूपए की सीमा के अन्तर्गत बोरिंग से धनराशि शेष रहने पर रिफ्लेक्स वाल्व, डिलिवरी पाइप, बेंड आदि सामग्री उपलब्ध कराने की अतिरिक्त सुविधा भी उपलब्ध है। पम्पसेट स्थापित करने पर अधिकतम 9000 रूपए का अनुदान अनुमन्य है।
  • एच.डी.पी.ई.पाइप हेतु अनुदान:- वर्ष 2012-13 से जल के अपव्यय को रोकने एवं सिंचाई दक्षता में अमिवृद्धि के दृष्टिकोण से कुल लक्ष्य के 25 प्रतिशत लाभार्थियों को 90mm साईज का न्यूनतम 30मी0 से अधिकतम 60 मी0 HDPE Pipe स्थापित करने हेतु लागत का 50 प्रतिशत अधिकतम 3000 रूपए का अनुदान अनुमन्य कराये जाने का प्राविधान किया गया है। 22 मार्च 2016 से 110 mm साईज के HDPE Pipe स्थापित करने हेतु भी अनुमन्यता प्रदान कर दी गयी है।
  • पम्पसेट क्रय हेतु अनुदान :- निःशुल्क बोरिंग योजना के अन्तर्गत नाबार्ड द्वारा विभिन्न अश्वशक्ति के पम्पसेटों के लिए ऋण की सीमा निर्धारित है जिसके अधीन बैकों के माध्यम से पम्पसेट क्रय हेतु ऋण की सुविधा उपलब्ध है। जनपदवार रजिस्टर्ड पम्पसेट डीलरों से नगद पम्पसेट क्रय करने की भी व्यवस्था है। दोनों विकल्पो में से कोई भी प्रक्रिया अपनाकर ISI मार्क पम्पसेट क्रय करने पर अनुदान अनुमन्य है।

उत्तर प्रदेश सिंचाई विभाग द्वारा चलायी जाने वाली योजनाएं

उत्तर प्रदेश सिंचाई विभाग द्वारा निम्न योजनाएं चलाई जा रही है:-

  • उथले नलकूप योजना
  • माध्यम गहरे नलकूप योजना
  • गहरे नलकूप योजना
  • डा० राममनोहर लोहिया सामुदायिक नलकूप येाजना
  • पठारी क्षेत्रों में इन्वेलरिंग मशीन से बोरिंग करना
  • सतही पम्पसेट योजना
  • वर्षा जल का संचयन/उपयोग एवं भूजल रिचार्ज हेतु चेकडैम निर्माण योजना
  • ब्लास्ट कूप निर्माण योजना
  • प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना

लघु कृषि सिंचाई योजना के लिए ऑनलाइन आवेदन

  • सबसे पहले आपको लघु सिंचाई योजना उत्तर प्रदेश की आधिकारिक वेबसाइट http://upagriculture.com/ पर जाना होगा।
  • इसके बाद लघु सिंचाई योजना के आवेदन फॉर्म डाउनलोड करना होगा।
  • फॉर्म पूरी तरह से भरकर सबमिट बटन पर क्लिक करें।
आधिकारिक वेबसाइट यहां क्लिक करें
हेल्पलाइन नंबर 2286627 / 2286601 / 2286670
ईमेल आईडी milu-up@nic.in
आवेदन पत्र डाउनलोड यहां क्लिक करें
कार्यालय का पता मुख्य अभियंता,
लघु सिंचाई विभाग,
तृतीय तल, उत्तर विंग, जवाहर भवन,
लखनऊ 226001

अगर आपको लघु कृषि सिंचाई योजना से सम्बंधित कोई भी प्रश्न पूछना हो तो आप नीचे कमेंट बॉक्स में पूछ सकते है , हमारी टीम आपकी मदद करने की पूरी कोशिश करेगी। अगर आपको हमारी ये जानकारी अच्छी लगी हो तो आप इसे अपने दोस्तों को भी शेयर कर सकते है ताकि वो भी इस योजना का लाभ उठा सके।

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